Last Updated on October 09, 2025
   
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बिहार विधानसभा चुनाव के लिए सुरक्षा के कड़े बंदोबस्त, तैनात होंगे चार लाख से ज्यादा सुरक्षाकर्मी

पहली बार दूरदराज के क्षेत्रों में मतदान केन्द्रों पर सुरक्षाकर्मियों को हेलीकॉप्टर से नहीं उतारा जाएगा, क्योंकि सभी बल सड़क मार्ग से अपने तैनाती स्थलों पर पहुंचेंगे।
PTOI
2025-10-09
News

पटना: बिहार विधानसभा चुनाव की तारीखों का ऐलान होने के साथ ही चुनाव कराने की तैयारियां अब जोर पकड़ने लगी हैं। राज्य के पुलिस महानिदेशक (डीजीपी) विनय कुमार ने बृहस्पतिवार को कहा कि राज्य में स्वतंत्र एवं निष्पक्ष विधानसभा चुनाव सुनिश्चित करने के लिए चार लाख से अधिक सुरक्षाकर्मियों की तैनाती की जाएगी। उन्होंने कहा कि पहली बार दूरदराज के क्षेत्रों में मतदान केन्द्रों पर सुरक्षाकर्मियों को हेलीकॉप्टर से नहीं उतारा जाएगा, क्योंकि सभी बल सड़क मार्ग से अपने तैनाती स्थलों पर पहुंचेंगे। डीजीपी ने यह भी स्पष्ट किया कि नक्सली गतिविधियों में आई उल्लेखनीय कमी के कारण इस बार किसी भी मतदान केंद्र को स्थानांतरित नहीं किया जाएगा।

केंद्रीय सशस्त्र पुलिस बल की 500 कंपनियां

कुमार ने कहा, “बिहार में स्वतंत्र और निष्पक्ष विधानसभा चुनाव कराने के लिए चार लाख से अधिक सुरक्षाकर्मी तैनात किए जाएंगे। केंद्रीय सशस्त्र पुलिस बल (सीएपीएफ) की लगभग 500 कंपनियां पहले से ही चुनाव-पूर्व ड्यूटी पर हैं। अगले दो-तीन दिनों में 500 और कंपनियां पहुंचेंगी, जबकि अक्टूबर के तीसरे सप्ताह तक 500 अतिरिक्त कंपनियां राज्य में तैनात हो जाएंगी।” एक कंपनी में लगभग 100 सुरक्षाकर्मी होते हैं। उन्होंने बताया कि बिहार पुलिस के 60,000 जवान भी चुनावी ड्यूटी में शामिल होंगे। इसके अलावा, अन्य राज्यों से आए 2,000 आरक्षित बलों के जवान, बिहार विशेष सशस्त्र पुलिस के 30,000 कर्मी, 20,000 से अधिक होमगार्ड, करीब 19,000 प्रशिक्षु सिपाही और लगभग 1.5 लाख ‘चौकीदार’ (ग्राम्य पुलिसकर्मी) चुनावी ड्यूटी पर रहेंगे।

सड़क मार्ग से ही दूरस्थ इलाकों में भेजे जाएंगे सुरक्षाकर्मी

डीजीपी ने कहा, “राज्य में विशेष रूप से ग्रामीण इलाकों में सड़क ढांचा काफी बेहतर हुआ है। इसलिए हमने निर्णय लिया है कि इस बार सभी सुरक्षाकर्मी सड़क मार्ग से ही दूरस्थ इलाकों में भेजे जाएंगे। यह पहली बार होगा जब हेलीकॉप्टर से तैनाती नहीं की जाएगी।” उन्होंने कहा कि लगातार सुरक्षा अभियानों के कारण नक्सल गतिविधियों में उल्लेखनीय गिरावट आई है। इसलिए इस बार किसी भी मतदान केंद्र को स्थानांतरित करने की आवश्यकता नहीं पड़ी है। कुमार ने कहा, “संवेदनशील इलाकों में मतदाताओं की पूर्ण सुरक्षा सुनिश्चित की जाएगी।” उन्होंने बताया कि बिहार पुलिस की क्विक रिस्पांस टीम (क्यूआरटी) किसी भी आपात स्थिति, सुरक्षा उल्लंघन या गंभीर घटना से निपटने के लिए तैयार रहेंगी। क्यूआरटी में आतंकवाद निरोधी दस्ते (एटीएस) और विशेष कार्य बल (एसटीएफ) के कमांडो शामिल हैं ।

डीजीपी ने कहा, “इसके अलावा, प्रत्येक जिले में वीवीआईपी सुरक्षा के लिए विशेष ‘वीआईपी सुरक्षा पूल’ बनाया गया है। इस दल के सुरक्षाकर्मी राष्ट्रीय सुरक्षा गार्ड (एनएसजी) द्वारा प्रशिक्षित हैं और इन्हें वीवीआईपी सुरक्षा की सभी उन्नत तकनीकों की जानकारी दी गई है।” बिहार विधानसभा चुनाव दो चरणों में छह और 11 नवंबर को होंगे, जबकि मतगणना 14 नवंबर को की जाएगी। राज्य में कुल 90,712 मतदान केंद्र बनाए गए हैं, जिनमें 13,911 शहरी क्षेत्रों में और 76,801 ग्रामीण इलाकों में स्थित हैं।


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